चाय हर भारतीय घर में बनाई जाती है। लगभग हर किसी की दिन की शुरुआत एक कप चाय से होती है। ऐसे में चाय पीने के आदी को अगर हाई बीपी हो जाए तो उनके मन में पहला सवाल आता है कि हाई ब्लड प्रेशर में चाय पीना चाहिए या नहीं? तो इसी सवाल का जवाब हम इस खास ब्लॉग में दे रहे हैं। तो लेख में चाय और ब्लड प्रेशर से जुड़ी और बहुत सी जानकारियां है, जानने के लिए पूरा जरूर पढ़ें।
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हाई ब्लड प्रेशर में चाय पीना चाहिए या नहीं, इसका जवाब है, हां हाई बीपी में चाय पी सकते हैं। दरअसल, रिसर्च से पता चला है कि हाई ब्लड प्रेशर में चाय पी सकते है। हालांकि, कौन सी चाय हाई बीपी के लिए अच्छी है, ये हम आपको आगे बता रहे हैं। इसलिए लेख से जुड़े रहें।
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दूध वाली चाय को हाई बीपी वाले व्यक्तियों को पीने से बचना चाहिए। दूध को सेपरेट पीते हैं तो वह स्वास्थ्य के लिए लाभदायक होता है। चाय में होल मिल्क/दूध को शामिल करने से कोलेस्ट्रॉल और सैचुरेटेड फैट बढ़ सकता है, जो आपकी आर्टरीज को संकुचित कर सकता है, जिससे ब्लड प्रेशर का लेवल बढ़ सकता है।
इसके अलावा, चाय, विशेष रूप से काली और हरी चाय की किस्मों में ऐसे यौगिक होते हैं जो एंटीऑक्सिडेंट के रूप में कार्य करते हैं और अन्य लाभों के साथ रक्तचाप और कोलेस्ट्रॉल के स्तर को कम करने में मदद कर सकते हैं। कुछ अध्ययनों से पता चलता है कि चाय में दूध मिलाने से इन यौगिकों की गतिविधि बाधित हो सकती है। इसलिए दूध वाली चाय पीने से बचें। हालांकि, कुछ अन्य व्यक्तियों ने विपरीत प्रभाव देखा है। ऐसे में इसे लेकर मिलीजुली प्रतिक्रिया है।
आप दूध वाली चाय की जगह पर ब्लैक टी, ग्रीन टी, हिबिस्कस टी या ओलॉन्ग टी पी सकते हैं। अगर आपको दूध वाली चाय पीनी भी है, तो बेहतर है लो फैट या फैट फ्री दूध से बनी चाय पीएं।
क्या चाय हाई बीपी के लिए अच्छी है, आपको इस सवाल का जवाब तो मिल ही गया है। अब सवाल ये है कि बीपी मै कौन सी चाय पीना चाइये? तो नीचे कुछ बेहतरीन और हेल्दी चाय के बारे में बताया गया है जो हाई ब्लड प्रेशर को मैनेज करने में मदद कर सकती हैं।
ब्लैक टी कैमेलिया साइनेंसिस (Camellia sinensis) की सूखी और पूरी तरह से ऑक्सीकृत पत्तियों से बनाई जाती है। ब्लैक टी में कैटेचिन और पॉलीफेनोल जैसे एंटीऑक्सीडेंट आपकी आर्टरीज को फैला सकते हैं, जो आपके ब्लड प्रेशर लेवल्स को कम कर सकते हैं।
ग्रीन टी ब्लैक टी के समान कैमेलिया साइनेंसिस की पत्तियों से बनाई जाती है, लेकिन ब्लैक टी की तुलना में पत्तियों का ऑक्सीकरण और प्रसंस्करण (processing) कम होता है। इस प्रकार, वे अपने हरे रंग और उच्च मात्रा में कैटेचिन को बरकरार रखते हैं, जो एंटीऑक्सिडेंट और एसीई अवरोधक (ACE inhibitor) एक्टिविटी प्रदर्शित करते हैं।
ग्रीन टी की हाइपोटेंसिव एक्टिविटी का भी यही कारण है। बता दें, एसीई अवरोधक (ACE inhibitor), एक तरह की दवा है, जो नसों और धमनियों को आराम देकर हाई बीपी को कम करती है।
ओलॉन्ग टी भी कैमेलिया साइनेंसिस की पत्तियों से बनाई जाती है, लेकिन इसमें पत्तियों को सुखाने से पहले क्रश यानी कुचला नहीं जाता है, ताकि वे पूर्ण ऑक्सीकरण से न गुजरें। ब्लैक टी की तुलना में ओलॉन्ग टी में हाई लेवल्स के एंटीऑक्सिडेंट और कैटेचिन होते हैं, और इस प्रकार यह आपकी धमनियों की मांसपेशियों को आराम पहुंचाने में अधिक प्रभावी होते हैं।
हिबिस्कस टी को हिबिस्कस रोजा-सिनेंसिस (Hibiscus rosa-sinensis) या हिबिस्कस सबदरिफा (Hibiscus sabdariffa) की पंखुड़ियों को पानी में उबाल कर बनाया जाता है।
हिबिस्कस फूल एंथोसायनिन नामक एंटीऑक्सिडेंट से भरपूर होते हैं, जो एंडोथेलियल सेल डैमेज, बीपी को और एलडीएल (low-density lipoprotein or bad cholesterol) कोलेस्ट्रॉल के लेवल्स को कम करके हृदय रोग के जोखिम को कम कर सकता है।
यदि आप हाई ब्लड प्रेशर के लिए कोई दवाई ले रहे हैं, तो हिबिस्कस चाय पीने से पहले अपने डॉक्टर से परामर्श कर लें, क्योंकि बीपी दवाई और चाय की कंबाइन रिएक्शन आपके ब्लड प्रेशर को बहुत कम कर सकता है।
अध्ययनों से पता चला है कि नींबू में मौजूद फ्लेवोनोइड्स और ब्लड प्रेशर कम करने के गुण आपके ब्लड प्रेशर को कम करने में मदद कर सकते हैं।
इससे हृदय स्वास्थ्य भी बेहतर हो सकता है। इसको बनाना भी आसान है। ब्लैक टी बनायें और ऊपर से अपने स्वाद के अनुसार नीबू का रस डाल कर मिला लें और गर्म-गर्म लेमन टी का आनंद लें।
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आमतौर पर ब्लैक टी, ग्रीन टी और ओलॉन्ग टी जैसे चाय कैमेलिया साइनेंसिस नामक पौधे की प्रोसेस्ड पत्तियों से बनाई जाती हैं। गुड़हल की चाय, अदरक की चाय, पुदीने की चाय आदि जैसे अन्य पेय क्रमशः गुड़हल की पंखुड़ियों, अदरक के प्रकंद (ginger rhizome) और पुदीने की पत्तियों को पानी में उबालकर बनाए जा सकते हैं।
इन्हें ‘चाय’ केटेगरी में रखा है, ये वास्तव में हर्बल चाय/हर्बल इन्फ्यूजन/टिज़ैन (tisanes) हैं और इनमें कोई भी (कैमेलिया साइनेंसिस) चाय की पत्तियां मौजूद नहीं है।
अधिकांश बिना चीनी और बिना दूध वाली चाय में कैलोरीज़ और कार्बोहाइड्रेट्स की मात्रा न के बराबर होती है, और जीरो फैट्स, शुगर, प्रोटीन और फाइबर होते हैं।
चाय के अधिकांश रूपों में आवश्यक पोषक तत्व जैसे सॉल्ट और मिनरल्स की मात्रा होती है। कैमेलिया साइनेंसिस की पत्तियों से बनी चाय में कैफीन और थियोब्रोमाइन की मात्रा कम होती है।
यूनाइटेड स्टेट्स डिपार्टमेंट ऑफ एग्रीकल्चर (USDA) के अनुसार, 100 मिलीलीटर बिना दूध की ब्लैक टी, ग्रीन टी, ओलॉन्ग टी और हिबिस्कस टी के लिए पोषण संबंधी प्रोफ़ाइल निम्नलिखित हैं।
पोषक तत्व | ब्लैक टी | ग्रीन टी | ओलॉन्ग टी | हिबिस्कस टी |
ऊर्जा | 1 kcal | 1 kcal | 1 kcal | 0 |
पानी | 99.7 g | 99.9 g | 99.84 g | 99.6 g |
प्रोटीन | 0 | 0.22 g | 0 | 0 |
फैट | 0 | 0 | 0 | 0 |
कार्बोहायड्रेट | 0.3 g | 0 | 0.15 g | 0 |
शुगर | 0 | 0 | 0 | 0 |
फाइबर | 0 | 0 | 0 | 0 |
कैल्शियम | 0 | 0 | 1 mg | 8 mg |
आयरन | 0.02 mg | 0.02 mg | 0 | 0.08 mg |
मैग्नीशियम | 3 mg | 1 mg | 1 mg | 3 mg |
फॉस्फोरस | 1 mg | 0 | 1 mg | 1 mg |
सोडियम | 3 mg | 1 mg | 3 mg | 4 mg |
पोटैशियम | 37 mg | 8 mg | 12 mg | 20 mg |
ज़िंक | 0.02 mg | 0.01 mg | 0.01 mg | 0.04 mg |
कॉपर | 0.01 mg | 0.004 mg | 0 | 0 |
मैंगनीज | 0.219 mg | 0.184 mg | 0.210 mg | 0.477 mg |
कैफीन | 20 mg | 12 mg | 16 mg | 0 |
थियोब्रोमाइन | 2 mg | 0 | 2 mg | 0 |
बहुत से लोगों के मन में ये सवाल आता है कि क्या चाय रक्तचाप बढ़ाती है? तो आपको बता दें कि चाय उन तत्वों से भरपूर होती है, जिनमें एंटीऑक्सीडेंट गुण होते हैं, जैसे- पॉलीफेनोल्स और फ्लेवोनोइड।
ये पदार्थ आपकी मांसपेशियों को आराम पहुँचाती है और ब्लड प्रेशर लेवल को कम करने में मदद करती है। हालांकि, बीपी कंट्रोल करने के अलावा भी चाय के कई अन्य फायदे भी हैं। आइये जानते हैं चाय पीने से और क्या-क्या फायदे हो सकते हैं :
यदि आप जानना चाहते हैं कि बीपी पेशेंट को कितना चाय पीना चाहिए? तो बीपी पेशेंट को लिमिटेड मात्रा में ही चाय पीनी चाहिए। आप डेली 1 से 2 छोटा कप तक चाय पी सकते हैं। अगर किसी को हाई बीपी के अलावा किसी तरह की स्वास्थ्य संबंधी समस्या है तो वे चाय की मात्रा को लेकर डॉक्टर से सलाह ले सकते हैं
यहाँ हम आपको बताएँगे कि बीपी पेशेंट को चाय कब पीना चाहिए, हालांकि हाई बीपी के लिए चाय का सेवन करने का कोई निश्चित समय नहीं है। आदर्श रूप से, अपने ब्लड प्रेशर लेवल्स को स्टेबल रखने के लिए नाश्ते के साथ 1 कप, शाम में या वर्कआउट के बाद एक कप चाय का सेवन कर सकते हैं। सोने से पहले कैफीन युक्त चाय का सेवन करने से बचें, क्योंकि यह आपकी नींद की क्वालिटी को प्रभावित कर सकती है।
अधिकांश हर्बल चाय में नैचुरल रूप से कोई फैट या शुगर नहीं होती है, जो ब्लड शुगर लेवल को कम करने के लिए महत्वपूर्ण है। ऐसे में नीचे बताए गए आसान तरीकों से आप अपनी डाइट में चाय को शामिल कर सकते हैं।
हर चीज के फायदे और नुकसान दोनों होते हैं। ऐसे में अगर चाय पीने के फायदे हैं, तो अधिक सेवन से इसके नुकसान भी हो सकते हैं। ये नुकसान कुछ इस प्रकार हैं:
इस लेख को पढ़ने के बाद आपको क्लियर हो गया होगा कि हाई ब्लड प्रेशर में चाय पीना चाहिए या नहीं। यदि आपको चाय पीने की ज्यादा आदत है और आपको हाई ब्लड प्रेशर है तो आप ऊपर बताए गए हर्बल टी का सेवन कर सकते हैं, ये आपके ब्लड प्रेशर लेवल्स को स्थिर रखने में मदद कर सकती हैं।
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